Sunday, June 15, 2025
उत्तर प्रदेशव्यापार

12 फीसदी की दर से जीएसटी लेने से मध्यमवर्गीय व नौकरी पेशा लोगों पर बोझ बढ़ेगा

बरेली। जनपद बरेली के व्यापारियों ने गुरुवार को जिलाधिकारी शिवाकांत द्विवेदी को एक ज्ञापन सौंपा। व्यापारियों ने बताया कि जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) काउंसिल द्वारा 12 फीसदी की दर से जीएसटी लेने का निर्णय लिया गया है। जिससे कमजोर और मध्यमवर्गीय तथा नौकरी पेशा लोगों पर अतिरिक्त बोझ बढ़ेगा, इसे कर मुक्त रखा जाए।

जीएसटी मे विक्रेता की गलती का खामियाजा क्रेता व्यापारी को कर का भुगतान करने के बाद भी उठाना पड़ता है और रिवर्स चार्ज द्वारा करा भुगतान करना पड़ता है। जीएसटी काउंसिल अभी तक जीएसटी विवादों के निपटारे के लिए ट्रिब्यूनल की स्थापना नहीं की गई। जिस कारण से व्यापारियों को अपने विवाद के निपटारे के लिए उच्च न्यायालय की शरण लेनी पड़ती है। इससे अनावश्यक व्यय एवं समय लगता है।

ऐसे में देश में शीघ्र ही ट्रिब्यूनल बैंचो की स्थापना की जाए। गेहूं, आटा, दाल, चावल, मुरमुरे दूध, दही, छाछ एवं गुड़ जैसी आवश्यक वस्तुओं पर जीएसटी ना लगाया जाए। 28-29 जून की 47वी जीएसटी काउंसिल की मीटिंग में भारत सरकार को आवश्यक वस्तुओं पर पैकेजिंग एवं लेबलिंग के नाम पर लगाए जाने वाले कर की अनुशंसा को निरस्त कराएं तथा पहले से ही आप के खजाने को मालामाल कर रहे मध्यम वर्गीय समाज एवं व्यापारियों को कर बोझ से राहत दें। मंडी में किसान अपनी कृषि जींस लेकर आता है और ढेर लगाकर अपनी कृषि जींस को बेचता है। व्यापारी इसको बैग में भरता है और इस पर लेबल लगाकर प्रदर्शित करता है कि इसमें कौन सी क्वालिटी की जींस है तो यह पैक भी हो गया और इस पर लेवल भी लग गया। जीएसटी काउंसिल की 28 -29 जून की बैठक की अनुशंसा के अनुसार 18 जुलाई से यह जीएसटी के दायरे में आ जाएंगे। बड़ी-बड़ी कंपनियां अपने ब्रांड चलाने के लिए हर खाद्य वस्तु को ब्रांडेड की श्रेणी में लेने व जीएसटी के दायरे में लेने के लिए केंद्र सरकार और जीएसटी काउंसिल के सदस्यों पर निरंतर दबाव डालते रहे हैं। मान्यवर 80 करोड़ लोगों को भारत सरकार मुफ्त खाद्य वस्तुएं उपलब्ध कराकर उनकी समस्या दूर करती है परंतु भारत का 55 करोड़ मध्यमवर्गीय उपभोक्ता जिसमें छोटे-छोटे ट्रेडर्स व कुटीर उद्यमी भी शामिल हैं स्वरोजगार के माध्यम से ही अपने सूक्ष्म आय के स्रोतों के अनुसार खाद्य वस्तुओं की व्यवस्था करता है। हमारा सुझाव है कि इन्हें पूर्व की भांति मुक्त की श्रेणी में रखा जाए। होटल में ₹1000 तक के कमरे पर जीएसटी काउंसिल द्वारा 12% की दर से जीएसटी लेने का निर्णय लिया गया है जिससे कमजोर और मध्यमवर्गीय तथा नौकरी पेशा लोगों पर अतिरिक्त बोझ बढ़ेगा इसे कर मुक्त रखा जाए। राजकुमार अग्रवाल सर्राफ जिलाध्यक्ष, श्याम मिठवानी युवा महानगर अध्यक्ष, कैलाश मित्तल, युवा महानगर महामंत्री तरुण अग्रवाल, महानगर युवा कोषाध्यक्ष, मोहसिन आलम, युवा जिलाध्यक्ष ईशान सक्सेना युवा जिला महामंत्री मौजूद रहे।