INS विक्रांत : एक बार में 14 हजार किमी का सफर और 16 बेड का हॉस्पिटल

देश का पहला स्वदेशी एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस विक्रांत भारतीय नौसेना में शामिल हो चुका है। प्रधानमंत्री मोदी ने इसे नौसेना में शामिल किया और इसकी तमाम खूबियां बताईं। वाकई में ये युद्धपोत भारतीय नौसेना की शान जैसा है, इससे दुनियाभर में भारत की ताकत बढ़ी है। यहां हम आपको INS विक्रांत के 5 ऐसे फैक्ट्स के बारे में जो काफी दिलचस्प हैं।

पहले एक लाइन में ये बताते हैं कि पीएम मोदी ने आईएनएस विक्रांत को समर्पित करते हुए क्या कहा। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि, “INS विक्रांत के हर भाग की अपनी एक खूबी है, एक ताकत है, अपनी एक विकासयात्रा भी है। ये स्वदेशी सामर्थ्य, स्वदेशी संसाधन और स्वदेशी कौशल का प्रतीक है। ये हर भारतीय के लिए गौरव का अनमोल अवसर है। ये हर भारतीय का मान, स्वाभिमान बढ़ाने वाला अवसर है। मैं इसके लिए हर भारतीय को बधाई देता हूं।

INS विक्रांत के पांच बड़े फैक्ट

  • स्वदेशी एयरक्राफ्ट कैरियर में करीब ढाई हजार किलोमीटर लंबी इलेक्ट्रिक केबिल लगी है। यानी अगर इसमें लगी केबिल को बिछाया जाए तो वो कोच्चि से दिल्ली तक पहुंच सकती है।
  • विक्रांत की टॉप स्पीड 28 नॉट्स है और ये एक बार में 7500 नॉटिकल मील (14 हजार किलोमीटर) की दूरी तय कर सकता है यानी एक बार में भारत से निकलकर ब्राजील तक पहुंच सकता है।
  • आईएनएस विक्रांत में 14 डेक यानी फ्लोर हैं और 2300 कपार्टमेंट हैं। इस पर करीब 1700 नौसैनिक तैनात किए जा सकते हैं। महिला अधिकारियों और महिला अग्निवीरों के लिए स्वदेशी एयरक्राफ्ट कैरियर में खास व्यवस्था की गई है।
  • विक्रांत की किचन में एक दिन में 4800 लोगों का खाना तैयार किया जा सकता है और एक दिन में 10 हजार चपाती यानी रोटियां सेकी जा सकती हैं।
  • आईएनएस विक्रांत में एक छोटा अस्पताल भी बनाया गया है, जिसमें 16 बेड मौजूद हैं। इसके अलावा ये 18 मंजिला युद्धपोत है. जिसमें 250 तेल के टैंकर मौजूद हैं।